मनोहर पर्रिकर का फलादेश जन्म से September 16, 1956 तक
अपना मनचाहा परिणाम पाने के लिए मनोहर पर्रिकर को कड़ी मेहनत करनी पड़ेगी। वैसे मोटे तौर पर परिणाम आशाजनक नहीं निकलेंगे लेकिन काम विलम्ब से पूरा होगा। इस अवधि में किसी काम में बड़ा परिवर्तन नहीं करना चाहिए। धैर्य की हर क्रिया में बहुत आवश्यकता रहेगी। साथी का स्वास्थ्य मनोहर पर्रिकर को मानसिक रूप से चिन्तित रख सकता है। व्यापार नौकरी के सिलसिले में किए गए भ्रमण लाभकारी सिद्ध होंगे। जमीन की खरीद और किसी अच्छे समय करने के लिए मुल्तवी रखिए।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 1956 से September 16, 1973 तक
मनोहर पर्रिकर की लम्बी यात्रा करने की पूरी संभावना है। मित्र व सहयोगी सहायता करेंगे। अपने व्यवसाय या व्यापार को बढाने चमकाने के कई मौके आयेंगे। इच्छा और महत्वाकांक्षाओं की सम्पूर्ति होगी। भाई या घनिष्ठ मित्र के बारे में कोई शुभ समाचार प्राप्त करेंगे। इस अवधि में हर तरफ से खुशहाल रहने की संभावना है। प्रणय संबंधों के लिये भी यह समय अच्छा है। इस समय का सदुपयोग करें। इस दौरान मनोहर पर्रिकर के कई लोगों से मित्रतापूर्ण संबंध कायम होंगे।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 1973 से September 16, 1980 तक
इस अवधि के दौरान वैचारिक स्पष्टता का अभाव रहेगा। साधारण रूप से प्रसन्नता नहीं मिलेगी। पारिवारिक वातावरण भी परेशान रखेगा। छोटी छोटी बातों पर झगड़ें और विवाद हो सकते हैं। व्यापार धन्धा भी मन्दा चलेगा। अगर नौकरी करते हैं तो नौकरी के हालात भी संतोषप्रद नहीं होंगे। इस अवधि में मनोहर पर्रिकर के शीघ्र व्याधिग्रस्त होने की प्रवृति रहेगी। परिवारजनों की बीमारी चिन्तित रखेगी। वैसे मनोहर पर्रिकर का मन धार्मिक क्रिया कलाप की ओर झुका रहेगा और मनोहर पर्रिकर पवित्र स्थलों की यात्रा करेंगे।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 1980 से September 16, 2000 तक
इस अवधि में मनोहर पर्रिकर को हर प्रयास में सफलता मिलेगी। मित्र और सहयोगी मनोहर पर्रिकर को पूरा सहयोग देंगे। बहु प्रतीक्षित अभिलाषाओं और इच्छाओं की सम्पूर्ति होगी। भाई बहिन भी अपने अपने क्षेत्र में बहुत अच्छा कार्य करेंगे। यात्राओं से लाभ होगा। उच्च कोटि का पारिवारिक सुख प्राप्त करेंगे। परिवार में सदस्यों की बढोत्तरी होने की संभावना है। जीवन के विभिन्न क्षेत्रों में मिलने वाले मित्रों और सहयोगियों से अच्छी पटेगी। खर्चे अधिक होंगे लेकिन आमदनी से पूर पड़ती रहेगी।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 2000 से September 16, 2006 तक
इस अवधि में मनोहर पर्रिकर बहुत क्रियाशील एवम् व्यस्त रहेंगे। व्यापार या नौकरी में सफलता प्राप्त करेंगे और अपने वरिष्ठ अधिकारियों के कृपाभाजन रहेंगे। यह समय मनोहर पर्रिकर की कर्मठता का समय सिद्ध होगा। व्यापार के कारण सफलदायक यात्राएं करेंगे। सब लिहाज से यह समय काफी संतोषप्रद सिद्ध होगा। इस समय में मनोहर पर्रिकर अपनी सारी आर्थिक समस्याओं से छुटकारा पा जायेंगे।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 2006 से September 16, 2016 तक
मनोहर पर्रिकर अपने ही विचारों और योजनाओं को रचनात्मक रूप दे सकेंगे। नौकरी या व्यापार से संबंधित कुछ ठोस परिणाम सामने आयेंगे। मनोहर पर्रिकर को सारे ही उद्यमों में सफलता निश्चित है। अपने से वरिष्ठ लोगों या पर्यवेक्षकों के साथ अति मधुर संबंध रहेंगे। इस समय का पूरा सदुपयोग कीजिये।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 2016 से September 16, 2023 तक
बड़े बूढों से सहयोग प्राप्त करेंगे। सुदूर स्थलों तक की गई लम्बी यात्राएं सफलदायक सिद्ध होंगी। आमदनी बढ़ेगी और आय के नये स्त्रोत प्राप्त होंगे। यद्यापि खर्चे भी बढेंगे लेकिन आमदनी से अधिक नहीं होंगे। सट्टे के द्वारा आय होने की भी संभावना है। इस समय का पूरा सदुपयोग करें।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 2023 से September 16, 2041 तक
इस अवधि के दौरान मनोहर पर्रिकर का अपने प्रति विश्वास बहुत बढ़ा चढ़ा रहेगा। मनोहर पर्रिकर निडर संघर्षप्रेमी और झगड़े झंझट से डरने वाले नहीं होंगे। मनोहर पर्रिकर की मेहनत और कर्मठता से व्यापार धंधे में विकास होगा। वरिष्ठ लोगों और सत्ताधारी व्यक्तियों से मनोहर पर्रिकर के संबंध मधुर रहेंगे। साथ ही साथ मनोहर पर्रिकर के व्यापारिक क्षेत्र में बढ़ोत्तरी होगी। एक सोची हुई यात्रा पूरी करने से असीमित लाभ प्राप्त करेंगे। प्रतिस्पर्धा में विजयी रहकर मनोहर पर्रिकर अपने शत्रुओं का पराभव कर देंगे। स्वास्थ्य भी बहुत अच्छा रहेगा।
मनोहर पर्रिकर का फलादेश September 16, 2041 से September 16, 2057 तक
इस अवधि में मनोहर पर्रिकर वैवाहिक सुख भोगेंगे। व्यापार या नौकरी इत्यादि के विकासशील होने की अच्छी संभावनाएं रहेंगी। बहु प्रतीक्षित यात्रा करेंगे। परिवार का वातावरण भी सौमनस्यपूर्ण रहेगा। इच्छाओं और आकांक्षाओं की पूर्ति होगी। मनोहर पर्रिकर निडर रहेंगे और शत्रुगण सामने आने की हिम्मत नहीं करेंगे। दर्शन व साहित्य में रूचि जागृत होगी। विद्वानों से सम्पर्क बढें़गे। मनोहर पर्रिकर अत्यधिक सम्मानप्रिय व्यक्ति समझे जायेंगे और विख्यात होंगे।