भाग्यश्री
Feb 23, 1969
12:00:00
Sangli
74 E 37
16 N 55
5.5
Dirty Data
अप्रामाणिक स्रोत (अ.स्रो.)
Bhagyashree एक व्यावहारिक और क्षमतावान व्यक्ति हैं, Bhagyashree की योग्यता पर कोई भी प्रश्नचिह्न नहीं लगा सकता। Bhagyashree अनुशासित हैं और व्यवस्था को पसन्द करते हैं। ये गुण Bhagyashree में पर्याप्त विकसित हैं और छोटी से छोटी बातों पर आवश्यकता से अधिक ध्यान देने के कारण Bhagyashree जीवन की बृहत उपलब्धियों को प्राप्त नहीं कर पाते।Bhagyashree संवेदनशील और सहृदय हैं। यदि Bhagyashree को पता लगे कि Bhagyashree का कोई निकट व्यक्ति अत्यन्त पीड़ा व दुःख में है, तो Bhagyashree तुरन्त उसकी सहायता हेतु पहुँच जाते हैं।Bhagyashree के अन्दर हिचकिचाहट है। यद्यपि Bhagyashree के भीतर संसार में अपना मार्ग बनाने की क्षमता है। Bhagyashree के अन्दर इतनी ऊर्जा है कि Bhagyashree सफलता की किसी भी सीड़ी पर चढ़ सकें। किन्तु Bhagyashree अपनी हिचकिचाहट के कारण अपने लक्ष्य तक नहीं पहुंच पाते, जबकि अन्य कम क्षमतावान लोग वहां तक पहुंच जाते हैं। अतः Bhagyashree को अपनी काल्पनिक सीमाओं के बारे में सोचना नहीं चाहिए। Bhagyashree को यह मानकर चलना चाहिए कि Bhagyashree को सफलता मिलेगी हीे मिलेगी।Bhagyashree वास्तविक तथा व्यावहारिक सोच रखते हैं। Bhagyashree सदैव कुछ न कुछ प्राप्त करना चाहते हैं। Bhagyashree के अन्तःकरण में कुछ पाने की इच्छा सदैव दीप्तिमान रहती है। यह Bhagyashree को कभी-कभी व्यग्र बना देता है। लेकिन Bhagyashree को अपनी उपलब्धियों पर सदैव हीे गर्व रहता है।
Bhagyashree वस्तु व व्यक्ति के आर-पार देख सकते हैं,अर्थात् Bhagyashree से कुछ भी छुपाना सम्भव नहीं है। Bhagyashree की अन्तर्दृष्टि की यही स्पष्टता Bhagyashree को विपक्षियों से पार पाने में व सन्तोष प्राप्त करने में Bhagyashree की सहायता करती है। Bhagyashree के अन्दर परिस्थितियों को तुरन्त समझने की एवं समस्याओं के त्वरित निराकरण की क्षमता है।Bhagyashree लक्ष्य पर नियंत्रित रहने वाले हैं और किसी का भी दबाव महसूस नहीं करते। Bhagyashree स्वभाविक तौर पर एक विद्वान होंगे और समाज में Bhagyashree की छवि एक प्रतिष्ठित और ज्ञानी व्यक्ति के रूप में होगी। इसकी वजह होगी Bhagyashree का ज्ञान और Bhagyashree की शिक्षा। चाहे Bhagyashree अन्य चीजों को त्याग दें लेकिन शिक्षा में बेहतर करना Bhagyashree की सबसे पहली प्राथमिकता होगी और यही Bhagyashree को सबसे अलग रखेगी। Bhagyashree को अपने जीवन में अनेक ज्ञानी और प्रतिष्ठित लोगों के द्वारा मार्गदर्शन प्राप्त होगा और उसके परिणामस्वरुप Bhagyashree अपनी शिक्षा को उन्नत बना पाएंगे। Bhagyashree के अंदर सहज रूप से ज्ञान मौजूद है। Bhagyashree को केवल स्वयं को उन्नत बनाते हुए उस ज्ञान को अपने निजी जीवन में समाहित करने का प्रयास करना होगा। ज्ञान के प्रति Bhagyashree की भूख Bhagyashree को सबसे आगे रखेगी और इसी वजह से Bhagyashree की गिनती विद्वानों में होगी। कभी-कभी Bhagyashree अति स्वतंत्रता का शिकार हो जाते हैं, जिसकी वजह से Bhagyashree की शिक्षा बाधित हो सकती है, इसलिए इस से बचने का प्रयास करें।
Bhagyashree अन्य लोगों की अपेक्षा अधिक अन्तर्मुखी हैं। यदि Bhagyashree को बहुत से लोगों के समूह के सम्मुख जाना पड़े, तो Bhagyashree ‘स्टेज फोबिया’ से ग्रसित हो जाते हैं। Bhagyashree सबसे अधिक प्रेरित एकान्त में, इच्छानुसार कार्य अपनी गति से करने में होते हैं।