कटुलु रवि कुमार
Apr 24, 1988
12:0:0
Brahmapur
84 E 51
19 N 21
5.5
Unknown
अप्रामाणिक स्रोत (अ.स्रो.)
कटुलु रवि कुमार के अनुसार विवाह जीवन का हिस्सा है, जिसे घटित होना ही है। साधारणतः कटुलु रवि कुमार विवाह-बन्धन से अधिक मित्रता को मानते। सामान्यतः, कटुलु रवि कुमार प्रेम पत्र नहीं लिखेंगे और जितना कम रोमांस कटुलु रवि कुमार के प्रेम प्रसंग में आएगा, उतना ही अच्छा है। पर इससे ये निष्कर्ष नहीं निकालना चाहिए कि विवाह के प्रति कटुलु रवि कुमार का दृष्टिकोण सम्बन्ध-विच्छेद से प्रभावित है। इसके विपरीत यदि एक बार कटुलु रवि कुमार विवाह बन्धन में बंध गये, तो कटुलु रवि कुमार इस सम्बन्ध को सामंजस्यव मानवतापूर्ण बनाने का प्रयास करेंगे, जोकि विवाह के कई सालों बाद भी जारी रहेगा।
कटुलु रवि कुमार की स्वास्थ्य-संरचना बहुत अच्छी है, लेकिन कटुलु रवि कुमार स्नायु-विकार एवं अपच से पीडि़त रह सकते हैं। पहले का कारण कटुलु रवि कुमार की जरूरत से ज्यादा संवेदनशील प्रकृति है। कटुलु रवि कुमार अपेक्षाकृत शीघ्रता से अपनी जीवन-ऊर्जा खो देते है और वह जीवन, कटुलु रवि कुमार जिसका आनन्द लेते हैं, इसमें कटुलु रवि कुमार की कोई मदद नहीं करता। अति भोग, अपच का मुख्य कारण है। अपच का मुख्य कारण अधिकता में लिया गया भोजन है। जो कटुलु रवि कुमार खाते हैं, या तो वह बहुत भारी होता है या दिन में बहुत देरी से लिया हुआ होता है।
कटुलु रवि कुमार मानसिक रुचियों से समृद्ध हैं एवं व्यवस्थित कला कटुलु रवि कुमार के लिये बहुत महत्वपूर्ण है। कटुलु रवि कुमार अवकाश की योजना बनाने में अधिक आनन्द महसूस करते हैं, अपेक्षाकृत कि वास्तविक अवकाश पर जाने में। कटुलु रवि कुमार पुस्तकों और अध्ययन से प्रेम करते हैं एवं संग्रहालय में घूमने का मजा उठाते हैं। कटुलु रवि कुमार का पुरानी वस्तुओं की ओर विशेष झुकाव है, खासकर कि अत्यधिक प्राचीन वस्तुओं की ओर।