एकलव्य द्विवेदी
Jul 22, 1988
12:0:0
Allahabad
81 E 50
25 N 57
5.5
Unknown
अप्रामाणिक स्रोत (अ.स्रो.)
क्योंकि एकलव्य द्विवेदी जीवन की प्रत्येक घटना के प्रति संवेदनशील हैं, एकलव्य द्विवेदी कम झंझट और दवाब वाला काम पसन्द करते हैं। जीवन में कार्यक्षेत्र के चयन के लिये एकलव्य द्विवेदी अपनी अन्तरात्मा की आवाज सुनें और उसी दिशा में कार्य करें।
एकलव्य द्विवेदी के अन्दर विचारों को शब्दों में व्यक्त करने की क्षमता है, अतः एकलव्य द्विवेदी एक पत्रकार, शिक्षक या भ्रमणशील सेल्समैन के रूप में जाने जाएंगे। एकलव्य द्विवेदी कुछ कहने से कभी नुकसान में नहीं रहेंगे। यह गुण एकलव्य द्विवेदी को अध्यापन में भी बेहतर बनाता है। लेकिन जब एकलव्य द्विवेदी का मन व्यग्र होता है, एकलव्य द्विवेदी का प्रदर्शन बहुतही खराब होता है। ऐसा कोई भी कार्य जिसमें तीव्र सोच की आवश्यकता होती है,एकलव्य द्विवेदी उसमें सफल होंगे। परन्तु यह एकसा कार्य नहीं होना चाहिए, अन्यथा एकलव्य द्विवेदी को गम्भीर असफलता का सामना करना पड़ेगा। एकलव्य द्विवेदी को परिवर्तन और विविधता पसन्द है, अतःकोई भी कार्य जिसमें एकलव्य द्विवेदी को देश-विदेश का भ्रमण करना पड़े, एकलव्य द्विवेदी के लिये उपयुक्त है। अपने लिये किया गया काम एकलव्य द्विवेदी के लिये बेहतर होगा, बजाय कि दूसरे के लिये। एकलव्य द्विवेदी स्वेच्छा से आना-जाना पसन्द करते हैं, अतः एकलव्य द्विवेदी को अपना स्वयं का कार्य करना चाहिए।
वित्त का प्रश्न एकलव्य द्विवेदी के लिये अत्यन्त विशिष्ट है। एकलव्य द्विवेदी के धन सम्बन्ध में हमेशा ही अनिश्चय व उतार-चढ़ाव की सम्भावना है,लेकिन एकलव्य द्विवेदी अपने आविष्कारिक विचारों के कारण खूब धनार्जन करेंगे। एकलव्य द्विवेदी कल्पनाओं और स्वप्न लोक में जीते हैं तथा निराशा को प्राप्त होते हैं। एकलव्य द्विवेदी को हर प्रकार की सट्टेबाजी और जुए से दूर रहना चाहिए। आर्थिक मामलों में एकलव्य द्विवेदी के साथ संभावित से अधिक असंभावित घटित होता है। एकलव्य द्विवेदी के मस्तिष्क में मौलिक विचारों व युक्तियों का जन्म होगा, जोकि अन्य लोगों के विचारों से सामंजस्य स्थापित नहीं कर पाएगा। एकलव्य द्विवेदी असामान्य तरीके पैसा बनाएंगे, एकलव्य द्विवेदी एक आविष्कारक या असाधारण व्यवसायी होंगे। कई माइनों में, आविष्कार, जोखिम से जुड़े व्यापार इत्यादि में एकलव्य द्विवेदी भाग्यशाली होंगे। एकलव्य द्विवेदी के पास मौलिक विचार एवं उसके लिये योजनाएं होंगी, लेकिन उनके क्रियान्वयन के लिए भागीदार से सामंजस्य नहीं हो पाएगा। इस प्रकार एकलव्य द्विवेदी अपनी कई उत्तम योजनाओं का दुःखद अन्त देखेंगे।